Monday, November 21, 2016

तजुर्बा ।

ज़िंदगी को  ही, तय  करने  दे  उसे   क्या  चाहिए,

फिर, तजुर्बा भी तो, काम आना चाहिए किसी दिन...!


मार्कण्ड दवे । दिनांकः १९ नवम्बर २०१६.


No comments:

Post a Comment

Note: Only a member of this blog may post a comment.

Ratings and Recommendations by outbrain

Followers

SpellGuru : SpellChecker & Editor For Hindi​​



SPELL GURU